लेखनी कहानी -29-Oct-2022
●● ••• •• •• संस्कार ••••••••●●
राधिका सिया-राम कॉलेज में एक प्रोफ़ेसर थी। मोहित हॉस्पिटल से दसवीं की परीक्षा खत्म कर छुट्टियों में घर आया था। राधिका ने अपने बेटे मोहित की वजह से एक हफ्ते की छुट्टी ले ली। फिर राधिका अपने पति गोपाल और बेटे के साथ उदयपुर एक हफ्ते घूमने चले गए। उनका बहुत ही आनंददायक सफर रहा।
सभी लोग बहुत खुश थे।
एक हफ्ते बाद तीनों वापस आ गए।
लेकिन राधिका को तो अपने कॉलेज जाना था।
और गोपाल ऑफिस चले गए।
मोहित घर में ही रह गया था क्योंकि उसकी छुट्टियां अभी बाकी थी।
अरे! आपको दो और सदस्य के बारे में बताना ही भूल गई?अब आप को मिलाती हूँ। मालती और उसकी बेटी गुड़िया से। वह दोनों माँ बेटी उसी घर में रहती थी। उन लोगों ने मालती और उसकी बेटी को घर के ऊपर एक कमरा दे रखा था।
मालती की बेटी गुड़िया बोल नहीं पाती थी। लेकिन वह सब समझ जाती थी। इशारे से सब कुछ बता देती थी। राधिका के कहने पर मालती ने गुड़िया को स्कूल भी दाखिला करवा दिया था। मालती पर उन लोगों के बहुत एहसान थे।
मालती काम करती रहती बेटी गुड़िया मोहित के साथ रहती थी।
मालती भी खुश हो जाती थी।
चलो उसकी बेटी आराम से खेल रही है। अब उसको तंग नहीं कर रही। एक दिन बात है मालती को सामान लेने बाहर जाना पड़ा। तो वह गुड़िया को मोहित के पास ही छोड़ गई। मोहित और गुड़िया दोनों बैठकर कैरम खेलने लगे। फिर मोहित ने गुड़िया लिए मेगी बना कर खिलाई। 2 घंटे बाद मालती घर का सामान लेकर वापस आ गई। 4:00 बजे राधिका भी अपने कॉलेज से वापस आ जाती थी।
फिर सभी लोगों ने बैठकर चाय पी। इतने में राधिका के पति भी आ गए और कहने लगे अरे भाई !मेरी चाय कहाँ है? सभी लोग अचंभे में रह गए इतनी जल्दी वह कैसे आ गए राधिका ने पूछा आप इतनी जल्दी कैसे आ गए ? गोपाल हँसने लगे
क्या यार मैं जल्दी नहीं आ सकता कोई परेशानी है तो मैं वापस चला जाता हूँ। सभी लोग यह बात सुनकर हँसने लगे। हा हा हा हा हा ••••••••••
मोहित की अब छुट्टियां खत्म होने वाली थी।
राधिका और गोपाल दोनों मिलकर उसको शॉपिंग करा रहे थे। क्योंकि होटल जाने से पहले उसकी जरूरत का सामान वह उसको दिला रहे थे।
एक दिन की बात है मालती की बेटी गुड़िया के पेट में बहुत दर्द होने लगा। मालती उसको डॉक्टर के पास ले गई। वह कुछ कह तो नहीं पा रही थी लेकिन उसके आँसू बता रहे थे कि उसको पेट में बहुत दर्द है।
डॉक्टर ने गुड़िया का अच्छे से चेकअप किया।
लेकिन डॉक्टर चौक गई क्योंकि गुड़िया की अभी उम्र बहुत कम थी वह मात्र दस वर्ष की लड़की थी।
मालती को डॉक्टर ने अपने पास बुलाया। उसको आराम से बिठाया उसको बताया कि उसकी बेटी गुड़िया माँ बनने वाली है यह सुनकर मालती बेहोश
हो गई। फिर डॉक्टर ने नर्स को बुलाकर उसको आराम से लिटा दिया।
मालती को होश आने के बाद डॉक्टर ने उसको प्यार से समझाया और पूछा। कि तुम्हारी बेटी कहाँ कहाँ जाती है?
इतनी ही देर में राधिका गाड़ी लेकर मालती को ले जाने आ जाती है।
वह सब घर वापस चले जाते हैं। फिर मालती राधिका को सारी बात बताती है राधिका भी यह सुनकर बहुत चकित हो जाती है।
आज राधिका को नींद नहीं आई उसने सारी बात गोपाल को बताई। क्योंकि वह अच्छी तरह से जानती थी कि छुट्टियाँ में गुड़िया कहीं भी नहीं गई वह घर में ही मोहित के साथ खेलती थी। अचानक राधिका को मोहित पर शक हुआ।
लेकिन वह उससे नहीं पूछ सकती थी। फिर उसने कैमरे की रिकॉर्डिंग निकाली और दोनों ने बैठकर देखी। यह तो•••••• नहीं हो सकता। उन दोनों ने देखा कि मालती घर से बाहर थैला लेकर जा रही है। और उसकी बेटी मोहित के साथ खेल रही है। मोहित उसको अपने कमरे में ले जाता है। और आगे का दृश्य देखने के लायक ही नहीं था। राधिका और गोपाल बहुत परेशान हो जाते हैं।
दोनों मोहित के कमरे में जाते हैं और उससे पूछते हैं यह क्या किया? तुमने एक 10 साल की बच्ची के साथ? क्या तुमको यही संस्कार दिए थे? हॉस्टल में यही सब सीख रहे हो क्या?
मोहित सर झुकाए खड़ा था? गोपाल मोहित के गाल पर दो थप्पड़ लगाते हैं।
रात के समय इतना शोर होने पर मालती नीचे
आने लगती है ।
वह सारी बातें सुन लेती है। और फिर फटाफट ऊपर अपने कमरे में चली जाती है।गुड़िया सो रही थी। मालती को समझ नहीं आया कि अब क्या करें ?अपनी बेटी को कैसे बचाएं? वह अंदर ही अंदर सिसकती रह जाती है।
अगले दिन वह अपनी बेटी गुड़िया को लेकर अपने गाँव जाने लग जाती है।
लेकिन उसको राधिका रोक लेती है। और अपने बेटे मोहित को कहती है कि आंटी के पैर पकड़ और उनसे माफी मांग।
मालती कुछ भी नहीं कह पाती वह चुपचाप सुन्न
होकर खड़ी रहती है।
राधिका भी उससे माफी मांगती है।
मालती को हालातों के आगे झुकना पड़ता है
कहते हैं कि जिसकी लाठी उसकी भैंस
आखिरकार उसको पैसे के आगे झुकना पड़ जाता है। राधिका गुड़िया की पूरी जिम्मेदारी लेती है।
अब आप सब लोग ही बताइए??
मालती को क्या करना चाहिए था??
एकता सिंह चौहान
नई दिल्ली
Gunjan Kamal
02-Nov-2022 11:13 PM
पैसों के आगे झुकने की बजाए मालती मोहित को उसके किए गए गुनाह की सजा दिलवा सकती थी क्योंकि सिर्फ माफी भर मांग लेने से लड़की के शारीरिक और मानसिक घाव नही भर जाते।
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shweta soni
31-Oct-2022 04:02 PM
बेहतरीन रचना
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Abhinav ji
31-Oct-2022 09:21 AM
स्थिति निर्भर करती है की क्या फैसला होना चाहिए। मालती ने सही किया
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